हैदराबाद नोबल पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी ने शुक्रवार को देश की नीतियों, उनके संस्थागत क्रियान्वयन और अन्य उपायों के बीच देश को बच्चों के लिए सुरक्षित स्थान बनाने की पहल करने का सुझाव दिया। वह सरदार वल्लभ भाई पटेल नैशनल पॉलिसी अकैडमी में 32वें मेमोरियल लेक्चर में बच्चों के सुरक्षित बचपन में पुलिस की भूमिका के बारे में बात कर रहे थे।
सत्यार्थी ने इस दिशा में अधिकारियों की जवाबदेही तय करने को भी बड़ा कदम बताया। उनकी ओर से बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए सुझाए गए सात प्रयासों में नीतिगत पहल, संस्थागत क्रियान्वयन, शिक्षा, सामाजिक बुराई को समाप्त करने के लिए क्षमता निर्माण, विशेष रुप से अधिकारियों की जवाबदेही, तकनीकी हस्तक्षेप और सामाजिक संलिप्तता शामिल हैं।
कैलाश का मानना है कि एक बच्चा सबसे सुरक्षित उस समय महसूस करता है जब वह पुलिस से घिरा होता है। उन्होंने यह भी बताया कि उन्हें एक पुलिसवाले का पुत्र होने का गौरव है। एसवीपीएनपीए द्वारा जारी विज्ञप्ति में बताया गया है कि सत्यार्थी ने आईपीएस अकादमी में परिवीक्षाधीन अधिकारियों से बातचीत भी की।